गोपेश्वर। श्रीबदरीनाथ धाम के कपाट बंद होने की तिथि आगामी 12
अक्टूबर (शनिवार) को विजया दशमी के दिन बदरीनाथ धाम परिसर में पंचांग गणना
के पश्चात तय की जाएगी। दोपहर 11:30 बजे से कार्यक्रम शुरू होगा। इस अवसर
पर श्री बदरीनाथ केदारनाथ मंदिर समिति (बीकेटीसी) के अध्यक्ष अजय अजेंद्र
भी मौजूद रहेंगे।
बीकेटीसी के मीडिया प्रभारी डॉ. हरीश गौड़ ने
बताया कि परंपरागत रूप से श्रीकेदारनाथ धाम के कपाट दीपावली के पश्चात
भैया दूज को बंद हो जाते हैं। इसी दिन यमुनोत्री धाम के कपाट भी बंद होते
हैं, जबकि भैया दूज से एक दिन पहले अन्नकूट गोवर्धन पूजा के दिन गंगोत्री
धाम के कपाट अभिजीत मुहूर्त में बंद होते हैं। इस वर्ष भैयादूज तीन नवंबर
को है तथा अन्नकूट गोवर्धन पूजा दो नवंबर को है। गंगोत्री तथा यमुनोत्री
धाम के कपाट बंद होने की तिथि व समय की घोषणा गंगोत्री मंदिर समिति तथा
यमुनोत्री मंदिर समिति की ओर से की जाती है। वहीं गुरुद्वारा हेमकुंड साहिब
एवं लोकपाल तीर्थ के भी कपाट 10 अक्टूबर को बंद हो रहे हैं।
डॉ.
गौड़ ने बताया कि द्वितीय केदार मद्महेश्वर के कपाट बंद होने की तिथि
श्रीओमकारेश्वर मंदिर ऊखीमठ तथा तृतीय केदार तुंगनाथ के कपाट बंद होने की
तिथि शीतकालीन गद्दीस्थल श्री मर्कटेश्वर मंदिर मक्कूमठ में 12 अक्टूबर
विजय दशमी के दिन घोषित होगी। इसी दिन मद्महेश्वर मेला तथा देव डोलियों के
शीतकालीन गद्दीस्थल पहुंचने का कार्यक्रम भी घोषित हो जाएगा। साथ ही
श्रीकेदारनाथ धाम के कपाट बंद होने की तिथि तथा समय एवं पंचमुखी डोली के
श्रीकेदारनाथ धाम से शीतकालीन गद्दीस्थल श्रीओमकारेश्वर मंदिर ऊखीमठ
प्रस्थान का भी कार्यक्रम औपचारिक रूप से घोषित हो जाएगा।
भंडार व्यवस्था की जिम्मेदारी के लिए हक-हकूक धारियों को भेंट की जाएगी पगड़ी
उन्होंने
बताया कि बीकेटीसी की ओर से सभी तैयारियां पूरी कर ली गई है। विजया दशमी
के दिन धर्माधिकारी राधाकृष्ण थपलियाल, वेदपाठी रविंद्र भट्ट पंचांग गणना
के अनुसार श्रीबदरीनाथ धाम के कपाट बंद होने की तिथि तय करेंगे। साथ ही इसी
दिन अगले यात्रा काल की भंडार व्यवस्था की जिम्मेदारी के लिए कमदी,
भंडारी, मेहता थोक के हक-हकूक धारियों को मंदिर समिति की ओर से पगड़ी भेंट
की जाएगी।